''हम साथ-साथ हैं!'' - चीन को चेतावनी अमेरिका की

''टकराने की सोचना भी नहीं, हम हिमालय से दक्षिण चीन सागर तक अपने दोस्तों के साथ हैं'' - ये कहा है अमेरिका ने साफ़ साफ़ चीन को.. 

चीन न करे किसी के साथ टकराव क्योंकि अमेरिका 'दोस्तों' के साथ है

अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने दिया कड़ा संदेश
सहायक सचिव का आया बयान

''चीन की हरकतें संदिग्ध हैं''

नई दिल्ली. पहले भी कई बार परोक्ष-अपरोक्ष रूप से अमेरिका ने चीन को कड़ा संदेश दिया है लेकिन इस बार जब चीन को मिली है वार्निंग तो उसका सन्देश बिलकुल साफ़ है. चीन की कोई भी हिमाकत बहुत भारी पड़ेगी उसे और चारों तरफ से इतने हमले होंगे उस पर कि उसके बाद वो कोई भी युद्ध करने लायक नहीं बचेगा.

विदेश मंत्रालय ने दिया कड़ा संदेश 

अमेरिका से चीन के लिए फिर सीधी चेतावनी जारी हुई है और इस बार माध्यम बना है अमेरिकी विदेश मंत्रालय. विदेश मंत्रालय के द्वारा कहा गया है कि ''चीन की तनाव भड़काने वाली हरकतों को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा और अमेरिका अपने सभी मित्र देशों की संप्रभुता की रक्षा करेगा. चीन को पता होना चाहिए कि अमेरिका हिमालय से लेकर दक्षिण चीन सागर तक अपने सभी दोस्तों के साथ खड़ा हुआ है.''

सहायक सचिव का आया बयान 

अमेरिकी विदेश मंत्रालय में सहायक सचिव हैं डेविड आर. स्टिलवेल जो पूर्वी एशियाई और प्रशांत मामलों के प्रभारी हैं. डेविड स्टिलवेल ने बयान दिया है कि दक्षिण चीन सागर का मुद्दा गंभीर है और उसका प्रभाव सीधे-सीधे आर्कटिक, हिंद महासागर, भूमध्यसागरीय और अन्य अहम समुद्रमार्गों पर पड़ता है. सहायक सचिव ने आगे ये भी कहा कि दक्षिण चीन सागर में चीन के कारण जो-जो कुछ खतरे में पड़ने वाला है वह उन सभी राष्ट्रों और व्यक्तियों के हितों से जुड़ा है जो समुद्र की स्वतंत्रता पर निर्भर करते हैं. 

''चीन की हरकतें संदिग्ध हैं''

अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने चीन की हरकतों को संदिग्ध बताया. उन्होंने कहा कि पिछले कुछ महीनों जिस समय दुनिया चीन के कोरोना वायरस से फैली महामारी से जूझने में लगी हुई थी, उस दौरान चीन ने दक्षिण चीन सागर में अपनी गतिविधियां तेजी से बधाई हैं और ये हरकतें साफ़ तौर पर संदिग्ध हैं.

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